भारतीय क्रिकेट टीम के मुख्य कोच गौतम गंभीर ने स्वीकार किया है कि रोहित शर्मा और विराट कोहली की गैरमौजूदगी टीम के लिए एक बड़ी चुनौती होगी, लेकिन साथ ही उन्होंने इसे युवाओं के लिए खुद को साबित करने का सुनहरा मौका भी बताया। उन्होंने कहा कि इन दोनों दिग्गज खिलाड़ियों की जगह लेना आसान नहीं होगा और उनके रिटायरमेंट के बाद टीम को एक नए टेस्ट कप्तान की जरूरत पड़ेगी। रोहित शर्मा ने 7 मई को टेस्ट क्रिकेट से संन्यास की घोषणा की थी, और उसके कुछ दिन बाद 12 मई को विराट कोहली ने भी टेस्ट क्रिकेट को अलविदा कह दिया। इसके बाद यह चर्चा होने लगी कि क्या इन दोनों के फैसले के पीछे कोच गौतम गंभीर और चीफ सिलेक्टर अजीत अगरकर की भूमिका थी।
गंभीर ने इस पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि किसी खिलाड़ी के करियर की शुरुआत और अंत का फैसला पूरी तरह व्यक्तिगत होता है। उन्होंने सीएनएन न्यूज 18 से कहा कि यह केवल खिलाड़ी का अधिकार है कि वह कब खेलना शुरू करे और कब संन्यास ले; कोच, चयनकर्ता या किसी और को यह बताने का अधिकार नहीं है। उन्होंने आगे कहा कि दो अनुभवी खिलाड़ियों के बिना टीम को आगे बढ़ना होगा, लेकिन यह अन्य खिलाड़ियों के लिए अपनी उपयोगिता साबित करने का अच्छा अवसर भी है। उन्होंने इसकी तुलना उस समय से की जब भारत ने चैम्पियंस ट्रॉफी जीत ली थी, भले ही तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह टीम में नहीं थे। गंभीर ने उम्मीद जताई कि कुछ खिलाड़ी इस मौके का इंतजार कर रहे होंगे और जिम्मेदारी लेने को तैयार होंगे।
टी-20 वर्ल्ड कप की तैयारियों के संबंध में उन्होंने कहा कि फिलहाल टीम का पूरा ध्यान इसी टूर्नामेंट पर है, जो फरवरी-मार्च में भारत में आयोजित होना है। वनडे वर्ल्ड कप में रोहित और कोहली की भागीदारी पर फिलहाल कोई फैसला नहीं लिया गया है। इसके अलावा, भारतीय टीम का इंग्लैंड दौरा 20 जून से शुरू होना है, जिसमें पांच टेस्ट मैच खेले जाएंगे। उम्मीद जताई जा रही है कि इस दौरे के लिए भारतीय टेस्ट टीम की घोषणा 24 मई को की जाएगी। मुंबई स्थित बीसीसीआई के मुख्यालय में चयन समिति की बैठक प्रस्तावित है, जिसमें नए टेस्ट कप्तान के नाम का भी ऐलान किया जाएगा।